मन सपना के महल बनावे | Man Sapna Ke Mahal Banawe Lyrics | Pawan Singh
Song | Man Sapna Ke Mahal Banawe |
Singer | Pawan Singh |
Film | Izzat |
Language | Bhojpuri |
पवन सिंह का गाना Man Sapna Ke Mahal Banawe उनके सुपरहिट गानों में से एक है, और यह बहुत ज्यादा पसंद किया जाने वाला गाना भी है। विपरीत परिस्थिति होने पर दुनिया आप के साथ कैसा व्यवहार करती है, इस गाने में पवन सिंह ने बखूबी बताया है। इस गाने के बोल इस प्रकार है :
Man Sapna Ke Mahal Banawe Lyrics
मन सपना के महल बनावे
दुनिया ढेला
चलावे
जिनिगिया के खेला समझ में ना
आवे
जिनिगिया के खेला समझ में ना
आवे।।
जब जब दिन बिगड़े पर होला
केहू रोक न
पावे
जब जब दिन बिगड़े पर होला
केहू रोक न पावे
जाने का लेखल
किस्मत में…
जाने का लेखल किस्मत में
ई ना पता चल पावे
जिनिगिया के खेला
समझ में ना आवे।।
जिनिगिया के खेला
समझ में ना आवे।।
समय हसावे समय रोआवे
समय ही नाच
नचावे
समय हसावे समय रोआवे
समय ही नाच नचावे
जानबूझ के ना कोई
माली…
जानबूझ के ना कोई माली आपन
बगिया जरावे
जिनिगिया के खेला समझ
में ना आवे।।
जिनिगिया के खेला समझ
में ना आवे।।
बनले के साथी सब केहु होला
बिगड़े पर
मुंह घुमावे
बनले के साथी सब केहु
होला
बिगड़े पर मुंह घुमावे
सूरज के डूबते परछाई भी…
सूरज के
डूबते परछाई भी आपन साथ छोड़ावे
जिनिगिया के खेला समझ में ना आवे।।
जिनिगिया के खेला समझ में ना आवे।।
Jinigiya Ke Khela Samajh Me Na Aave Song
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